Tally Silver - यह Tally Single User होती है इस Tally में एक समय में एक ही user काम कर सकता है इसके । लिए किसी भी Networking की आवश्यकता नहीं होती हैं ।
Tally Gold - यह Tally Multi user होती है इस Tally में एक समय में दो या दो से ज्यादा user एक साथ काम कर सकते है इस Tally को चलाने के लिये ( Local Area Network ) की आवश्यकता होती है ।
Tally दो Mode में चलती हैं ।
- Educational Mode
- Professional Mode
Educational Mode - इस Tally में 1 , 2 , 31 तारीख ही काम ली जाती हैं उसके अलावा अन्य किसी भी Date में इस Mode में Entry नहीं की जाती हैं । इसे हर साल Upload नहीं करना होता हैं ।
Professional Mode - इस Tally का Use Business Perpose के लिये किया जाता हैं इस Tally में Machine की सभी Date को काम में लिया जा सकता हैं । यह Tally Licencess Validity के बाद Expire हो जाती हैं । यह Tally को हर बार Upload करना पड़ता हैं ।
Tally Screen
Tally screen को चार भागों में Divide किया गया हैं ।
Tool Bar :- टूल बार में Tally का जैसे Printf , E - Mail , Expert , Upload , Keyboard , Language , Help Etc. टूल होते हैं ।
Work Area :- यह Tally का वह Area होता है , जहाँ पर Accounting का सम्पूर्ण कार्य किया जाता है । Work Area के लिये ( Ctrl + M ) press करते हैं ।
Calculator :- Calculator में जाने के लिये ( Ctrl + N ) press करते है । जहाँ पर हम कोई भी Calculator सम्बन्धी कार्य कर सकते है ।
Button Bar :- यह Tally में Right Side की तरफ होती है । यहाँ जो जो Option हमने Activate कर रखे है , उन Features को Show करती है कि उन Features को Use में लेने में कौनसी Key Press करनी है ।
टैली
टैली एक एकाउंटिंग सॉफ्टवेयर हैं जो अन्य सॉफ्टवेयर की तरह यूजर द्वारा ही ऑपरेट किया जाता हैं । यह एक ऑटो कम्प्यूटेशन सॉफ्टवेयर हैं । इसमें यूजर्स को मुख्यतः तीन कार्य करने होते हैं ।
- * कम्पनी बनाना
- * लेजर बनाना
- * वाउचर एंट्री करना
जब आप पहली बार किसी फर्म के एकाउंटस को टैली में मैनेज करना चाहते हैं , तो सबसे पहले उस फर्म के नाम से कम्पनी तैयार करनी होगी । यह कम्पनी टैली में कार्य की शुरूआत करने से पहले बनाई जाती हैं ।
Create Company - टैली में कम्पनी बनाने के लिए कम्पनी इन्फों मैन्यू ( Alt + F3 ) या ( Alt + F1 ) मे जाकर Create Company विकल्प चुनें ।
Directory - यह फील्ड पहले से ही भरा हुआ होता हैं इस फील्ड में टैली का वह पाथ होता हैं , जहाँ टैली सॉफ्टवेयर लोड होता हैं । कर्सर इस फील्ड को छोड़ देता हैं और बनाई जाने वाली कम्पनी स्वतः ही इस डायरेक्ट्री में स्टोर हो जाती हैं ।
Name - इस फील्ड में वह नाम एंटर करें , जिस नाम से कम्पनी बनाना चाहते हैं ।
Mailing Name - इस फील्ड में कम्पनी का मेलिंग नेम एंटर करें । सामान्यतः कम्पनी का नाम ही मैलिंग नेम होता है |
Address - इस फील्ड में कम्पनी का पूरा पता एंटर किया जाता हैं ।
Statutory Compliance For - इस फील्ड में वह देश का नाम एंटर किया जाता हैं जिस देश में कम्पनी स्थापित है |
State - इस फील्ड में उस राज्य को एंटर किया जाता हैं जिस राज्य में आपका कारोबार स्थापित हैं ।
Pin Code - इस फील्ड में उस स्थान का पिन कोड एंटर करें , जहाँ कम्पनी स्थापित हैं ।
Telephone Number - इस फील्ड में कम्पनी का टेलीफोन नम्बर एंटर करें ।
E-mail Address - इस फील्ड में कम्पनी का ई - मेल एड्रेस एंटर करें ।
Maintain - यदि आप कम्पनी में केवल एकाउंट्स से सम्बंधित ही कार्य करना चाहते हो , तो Accounts Only ऑप्शन सलेक्ट करें । यदि आप एकाउंट्स के साथ साथ स्टॉक भी मैनेज करना चाहते हों , तो Accounts With Inventory सलेक्ट करें ।
Financial Year From - इस फील्ड में वित्तीय वर्ष शुरू होने की तिथी एंटर करें ( 01 - Apr - . . . . . . )
Books Beginning From - इस फील्ड में बुक्स ऑफ एकाउंट्स शुरू करने की तिथी एंटर करें ।
Security Control - यदि आप कम्पनी पर सुरक्षा व्यवस्था सक्रिय करना चाहते हैं , तो इस ऑप्शन को यस करें और इसे यस करने के बाद इसमें यूजर नेम और पासवर्ड एंटर करें ।
Company Creation Screen में सभी सूचनायें को एंटर करने के बाद कम्पनी को सेव कर दें या ( Ctrl + A ) Press करें ।
कम्पनी सलेक्ट करना
Gateway of Tally ⇨ F1 ( Select Company )
याGateway of Tally ⇨ Alt + F1 ( Select Company )
याGateway of Tally ⇨ Alt + F3 ( Select Company )
कम्पनी में सशोधन करना
यदि आप पहले से बनाई हुई कम्पनी में किसी प्रकार का परिवर्तन करना चाहते हैं , तो गेटवे ऑफ टैली से F1 कुंजी दबाकर वह कम्पनी सलेक्ट करें , जिसमें आप परिवर्तन करना चाहते हों । कम्पनी सलेक्ट करने के बाद Alt + F3 कुंजी दबाए , जिससे कम्पनी इन्फों मैन्यू प्रदर्शित होगा । यहाँ से ऑल्टर ऑप्शन सलेक्ट करें । इससे कम्पनी ऑल्टरेशन स्क्रीन प्रदर्शित होगी । आप इसमें परिवर्तन करने के बाद इसे सेव कर दें ।
Gateway of Tally ⇨ Press F1 ( Select the Company ) ⇨ Alt + F3 ⇨ Alter ⇨ Select company
कम्पनी हटाना
किसी भी कम्पनी को डिलीट करने के लिए पहले उस कम्पनी को सलेक्ट करें । फिर Alt + F3 कुंजी दबाकर कम्पनी इन्फों मैन्यू से Alter ऑप्शन सलेक्ट करें । जिस कम्पनी को डिलीट करना चाहते हैं उसे सलेक्ट करें और सलेक्ट करने के बाद उसे Alt + D कुंजी का प्रयोग करें । जिससे सलेक्ट की हुई कम्पनी डिलीट हो जायेगी ।
Gateway of Tally ⇨ Press F1 ( Select the Company ) ⇨ Alt + F3 ⇨ Alter ⇨ Select company ⇨ Alt + D
Accounts Group
एकाउंट्स ग्रुप एकाउंट्स इन्फों मैन्यू में प्रदर्शित होते हैं । जहाँ से एकाउंट्स ग्रुप को मैनेज किया जाता हैं । टैली स्वयं कुल 28 ग्रुप तैयार करती हैं । जिसमें 15 प्राइमरी और 13 सब - ग्रुप होते हैं । इनके अलावा यूजर स्वयं के ग्रुप भी तैयार कर सकता हैं ।
Ledger Creations
Gateway of Tally ⇨ Accounts Info ⇨ Ledger ⇨ Create
Sr no. | LEDGER | UNDER GROUP |
---|---|---|
1 | CAPITAL | CAPITAL ACCOUNTS |
2 | DRAWINGS | CAPITAL ACCOUNTS |
3 | FURNITURE & FIXTURE | FIXED ASSETS |
4 | PLANT & MACHINERY | FIXED ASSETS |
5 | LAND & BUILDING | FIXED ASSETS |
6 | COOLAR | FIXED ASSETS |
7 | MOTOR CAR | FIXED ASSETS |
8 | CASH | CASH-IN-HAND |
9 | PETTY CASH | CASH-IN-HAND |
10 | ANY BANK ( Dr.) | BANK ACCOUNTS |
11 | ANY BANK (Cr.) | BANK OVERDRAFT |
12 | SALARY EXP | INDIRECT EXPENSES |
13 | ELECTRISITY EXP | INDIRECT EXPENSES |
14 | ADVERTISMENT EXP | INDIRECT EXPENSES |
15 | WATER BILL | INDIRECT EXPENSES |
16 | TELEPHONE BILL | INDIRECT EXPENSES |
17 | DISCOUNT ALLOWED | INDIRECT EXPENSES |
18 | INTEREST PAID | INDIRECT EXPENSES |
19 | REPAIRS & MAINTAINS EXP | INDIRECT EXPENSES |
20 | RENT EXP | INDIRECT EXPENSES |
21 | PRINTING & STATIONERY EXP | INDIRECT EXPENSES |
22 | CONVEYANCE EXP | INDIRECT EXPENSES |
23 | DEPRECIATION EXP | INDIRECT EXPENSES |
24 | WAGES EXP | DIRECT EXPENSES |
25 | CARRIAGE INWARD EXP | DIRECT EXPENSES |
26 | FREIGHT EXP | DIRECT EXPENSES |
27 | INTEREST RECEIVED | INDIRECT INCOME |
28 | COMMISSION RECEIVED | INDIRECT INCOME |
29 | DISCOUNT RECEIVED | INDIRECT INCOME |
30 | SALARY RECEIVED | INDIRECT INCOME |
31 | OUTSTANDING RENT | CURRENT LIABILITIES |
32 | OUTSTANDING SALARY | CURRENT LIABILITIES |
33 | PURCHASE | PURCHASE ACCOUNTS |
34 | PURCHASE RETURN | PURCHASE ACCOUNTS |
35 | SALES | SALES ACCOUNTS |
36 | SALES RETURN | SALES ACCOUNTS |
37 | ANY PARTY PURCHASE | SUNDRY CREDITORS |
38 | ANY PARTY SALES | SUNDRY DEBTORS |
39 | SHARE / DEBENTURE | INVESTMENT |
40 | LOAN FROM BANK | SECURED LOAN |
41 | LOAN FROM PERSON’S | UNSECURED LOAN |
42 | INPUT VAT | DUTIES & TAXES |
43 | SERVICE TAX | DUTIES & TAXES |
44 | TDS | DUTIES & TAXES |
45 | TCS | DUTIES & TAXES |
46 | OUTPUT VAT | DUTIES & TAXES |
47 | EXCISE DUTY | DUTIES & TAXES |
एकाउंटिंग वाउचर
कोन्टरा वाउचर ( Contra Voucher ( F4 ) ) - कोन्टरा वाउचर का प्रयोग फंड ट्रांसफर करने के लिए किया जाता हैं । कोन्टरा वाउचर में कैश व बैंक के मध्य हुई लेन - देनों को रिकॉर्ड किया जाता हैं । इसलिये इसमें केवल कैश व बैंक से सम्बंधित लेजर्स ही प्रदर्शित होते हैं ।
1 . Amount Deposited into Bank | ||
Bank | A/c | Dr. |
ToCash A/c |
2 . Cash Withdrawal from Bank | ||
Cash | A/c | Dr. |
To Bank A/c |
पेमेन्ट वाउचर ( Payment Voucher ( F5 ) ) - सभी प्रकार के भुगतान चाहे वह कैश या बैंक के माध्यम से हों , पेमेन्ट वाउचर में ही रिकोर्ड किये जाते हैं । सामान्य रुप से पेमेन्ट वाउचर का प्रयोग तब किया जाता हैं , जब कोई खर्चा होता हैं , माल या सामान खरीदते हैं , लेनदारों को चुकाते हैं ।
1 . Amount Paid to Suppliers | ||
Suppliers | A/c | Dr. |
ToCash / Bank A/c |
2 . Expenses paid | ||
Expenses | A/c | Dr. |
To Cash / Bank A/c |
रिसीप्ट वाउचर ( Receipt Voucher ( F6 ) ) - सभी प्रकार के नकद प्राप्ति चाहे वह कैश या बैंक के माध्यम से हों , रिसीप्ट वाउचर में ही रिकोर्ड किये जाते हैं । सामान्य रुप से रिसीप्ट वाउचर का प्रयोग तब किया जाता हैं , जब आय होती हैं , माल या सामान नकद में बेचते हैं , देनदारों से प्राप्ति होती हैं ।
1 . Amount Received from Customers | ||
Cash / Bank | A/c | Dr. |
To Customers A/c |
जर्नल वाउचर ( Journal Voucher ( F7 ) ) - जर्नल वाउचर एक एडजेस्टमेंट वाउचर हैं , दो या दो से । अधिक खातों के बीच की एडजेस्टमेंट को रिकोर्ड करने के लिए जर्नल वाउचर का प्रयोग किया जाता हैं ।
- Sales Return / Purchase Return
- Credit Assets Purchase / Sales
- Drawings / Donation / Charity as Goods
- Goods Distribution as Free Sample
- Loss by fire / Loss by theft
- Any Adjustment Entry
सेल्स वाउचर ( Sales Voucher ( F8 ) ) - सभी प्रकार की सेल्स लेन - देन चाहे वह नकद या उधार हों , उन्हें सेल्स वाउचर में रिकोर्ड किया जाता हैं । यहाँ सेल्स या सेल्स वाउचर का सम्बंध केवल माल के बेचने से हैं ।
Customers / Cash Bank | A/c | Dr. |
To Sales A/c |
परचेज वाउचर ( Purchase Voucher ( F9 ) ) - सभी प्रकार की क्रय लेन - देन चाहे वह नकद या उधार हों , उन्हें परचेज वाउचर में रिकोर्ड किया जाता हैं । यहाँ परचेज या परचेज वाउचर का सम्बंध केवल माल से हैं ।
Purchase | A/c | Dr. |
To Customers / Cash / Bank Ac |
क्रेडिट नोट वाउचर ( Credit Note Voucher ) - क्रेडिट नोट वाउचर सामान्यतः वाउचर एन्ट्री स्क्रीन के दौरान दिखाई नहीं देता हैं । इसे सक्रिय करने के लिए F11 कुंजी दबाकर Use Debit / Credit Notes ऑप्शन को यस करना होता हैं । क्रेडिट नोट वाउचर का प्रयोग ग्राहक के एकांउट को क्रेडिट करने के लिए करते हैं । दूसरे शब्दों में क्रेडिट नोट वाउचर का प्रयोग सेल्स रिटर्न ( जब बेचा हुआ माल वापस आता हैं ) को रिकोर्ड करने के लिए करते हैं । इसके अलावा माल की कीमत में पाए गए अंतर , छूट आदि को सैट करने के लिए भी किया जाता हैं । इस वाउचर का प्रयोग करने के लिए Crtl + F8 कुंजी का प्रयोग करें । इस वाउचर में एन्ट्री निम्न प्रकार होगी -
Particulars | Debit | Credit |
To : Customer ' s Ledger / Cash / Bank | Amount | |
By : Sales Return / Discount | Amount |
डेबिट नोट वाउचर ( Debit Note Voucher ) - डेबिट नोट वाउचर का प्रयोग सप्लायर के एकांउट को डेबिट करने के लिए करते हैं । दूसरे शब्दों में डेबिट नोट वाउचर का प्रयोग परचेज रिटर्न ( जब खरीदा हुआ माल वापस भेजा जाता हैं ) को रिकोर्ड करने के लिए करते हैं । इसके अलावा माल की कीमत में पाए गए अंतर कमी , छूट आदि को सैट करने के लिए भी किया जाता हैं । इस वाउचर का प्रयोग करने के लिए Ctrl + F9 कुंजी का प्रयोग करें । इस वाउचर में एन्ट्री निम्न प्रकार होगी ।
Particulars | Debit | Credit |
To : Customer ' s Ledger / Cash / Bank | Amount | |
By : Sales Return / Discount | Amount |
नोन एकाउंटिग वाउचर ( Non Accounting Voucher )
मेमो वाउचर ( Memo Voucher ) - यह एक नॉन एकाउंटिग वाउचर हैं । इसका प्रयोग याददाश्त रिकोर्ड के लिए करते हैं क्योंकि इस वाउचर में की गई एंट्रीज बुक ऑफ एकांउटस में रिकोर्ड नहीं होती और न ही ये किसी एकाउटिंग स्टेटमेंट को प्रभावित करती हैं । मेमो वाउचर के लिए Ctrl + F10 कुंजी का प्रयोग करें ।
ऑप्शनल वाउचर ( Optional Voucher ) - ऑप्शनल वाउचर मेमो वाउचर से भिन्न होता हैं मेमो वाउचर अन्य एकॉउटिग वाउचर की तरह एक वास्तविक वाउचर है , जबकि ऑप्शनल वाउचर वास्तविक वाउचर नहीं है । किसी भी एकांउटिग वाउचर को ऑप्शनल वाउचर बनाया जाता हैं । एकाउंटिग वाउचर को ऑप्शनल वाउचर बनाने के लिए ( Ctrl + L ) कुंजी का प्रयोग करें ।
पोस्ट डेटेड वाउचर ( Post Dated Voucher ) - पोस्ट डेटेड वाउचर ऑप्शनल वाउचर की तरह ही होता हैं । किसी भी एकाउंटिग वाउचर को पोस्ट डेटेड वाउचर में बदला जा सकता हैं । इसके लिए Ctrl + T कुंजी का प्रयोग करें ।
रिवर्सिग जर्नल वाउचर ( Reversing Journal Voucher ) - यह एक विशेष प्रकार का जर्नल वाउचर होता हैं , जो एक निश्चित अवधि के बाद स्वतः ही जर्नल वाउचर के समान हो जाता हैं । यह वाउचर दी गई अवधि ( Applicable upto ) तक नॉन एकाउंटिग वाउचर रहता हैं , उसके बाद यह जर्नल वाउचर के समान कार्य करता हैं । रिवर्सिग जर्नल वाउचर , मेमो वाउचर की तरह एक वास्तविक वाउचर हैं । इसका प्रयोग करने के लिए F10 कुंजी का प्रयोग करें ।
चालान ( Challan ) - चालान का अर्थ उस डॉक्यूमेंट से हैं , जिसमें केवल स्टॉक को शामिल किया जाता हैं । इसका प्रयोग माल प्राप्ति या भेजने के लिए किया जाता हैं ।
डिलीवरी नोट वाउचर ( Delivery Note Voucher ) - डिलीवरी नोट चालान एक इन्वेंट्री वाउचर हैं , जो केवल स्टॉक को प्रभावित करता हैं । डिलीवरी नोट वाउचर या चालान का प्रयोग विक्रेता द्वारा तब किया जाता हैं , जब वह क्रेता को माल की डिलीवरी देता हैं । डिलीवरी नोट वाउचर या चालान का प्रयोग करने के लिए Alt + F8 कुंजी का प्रयोग करें ।
रिसीप्ट नोट वाउचर ( Delivery Note Voucher ) - रिसीप्ट नोट चालान एक इन्वेंट्री वाउचर हैं , जो केवल स्टॉक को प्रभावित करता हैं । रिसीप्ट नोट वाउचर या चालान का प्रयोग क्रेता द्वारा तब किया जाता हैं , जब वह विक्रेता को माल की प्राप्ति करता हैं । रिसीप्ट नोट वाउचर या चालान का प्रयोग करने के लिए Alt + F9 कुंजी का प्रयोग करें ।
रिजेक्शन इन चालान ( Delivery Note Voucher ) - रिजेक्शन इन चालान एक इन्वेंट्री वाउचर हैं , जो केवल स्टॉक को प्रभावित करता हैं । रिजेक्शन इन वाउचर या चालान का प्रयोग तब किया जाता हैं , जब बेचा हुआ माल वापस आती हैं । रिजेक्शन इन वाउचर या चालान का प्रयोग करने के लिए Ctrl + F6 कुंजी का प्रयोग करें ।
रिजेक्शन आउट चालान ( Delivery Note Voucher ) - रिजेक्शन आउट चालान एक इन्वेंट्री वाउचर हैं , जो केवल स्टॉक को प्रभावित करता हैं । इस वाउचर का प्रयोग परचेज रिटर्न ( जब खरीदे गए माल को वापस लौटाया जाता हैं ) के लिए किया जाता हैं । इसका प्रयोग करने के लिए Alt + F6 कुंजी का प्रयोग करें ।
Also Read - कंप्यूटर परिचय (PDF Book Download)
very well i am understand tally erp9
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